असर-आईजी और डीईजी ने दिए कार्यवाही के आदेश
उत्तर प्रदेश के अम्बेडकरनगर में चेकिंग के नाम पर युवक की आंख फोड़ देने के मामले में Truthstoday की खबर का संज्ञान लेते हुए आईजी और डीईजी ने दिए कार्यवाही के आदेश दिया है और अम्बेडकरनगर पुलिस ने भी इस पर ने भी इस पर गहनता से जाँच करने की बात कही है पर आपको बता दे की इस घटना के बाद अम्बेडकरनगर के एसएसपी पीयूष श्रीवास्तव ने खुद से गिरने और चोट लगने की बात कही थी और जाँच के बाद रिपोर्ट में भी खुद से गिरने और चोट लगने की ही बात सामने आई | तो सवाल उठता है की आईजी और डीईजी ने दिए कार्यवाही के आदेश और अम्बेडकरनगर पुलिस के गहनता से जाँच करने के दावों के बाद क्या दुबारा जाँच में सच सामने आ पायेगा और दोषियों पर कोई कार्यवाही होगी या महज खानापूर्ति भर रह जाएगी ?
क्या था पूरा मामला …?
जांच रिपोर्ट में क्या है खामियां …?
उत्तर प्रदेश की पुलिस की खौफनाक तश्वीरें तो अक्सर देखने और सुनने को मिलती हैं |ऐसी ही एक तश्वीर अम्बेडकरनगर के टांडा कोतवाली की पुलिस की सामने आई है |
जहाँ चेकिंग के दौरान एक बाइक सवार युवक को सिर्फ इसलिए लाठिया खानी पड़ी क्योकि उसने बाइक साइड लगाने में देरी कर दी इस दौरान सिपाही की एक लाठी युवक के आँख में लग गयी और उसकी आंख से खून निकलने लगा,तो वहाँ मौजूद सिपाही उसे घायल अवस्था में छोड़ फरार हो गये |तो वही पुलिस अधिकारी इसे दुर्घटना बताकर अपना पल्ला झाड़ रहे है।
बुनकर नगरी टांडा के सकरावल मुहल्ले का निवासी 25 वर्षीय युवक गौसुल वरा अपने पावर लूम पर गमछा तैयार कर उसकी फेरी लगाकर बेंचता है और इसी से अपने बूढ़े माँ बाप और परिवार का पालन पोषण करता है | युवक मोटरसाइकिल से गमझा लेकर किछौछा दरगाह जा रहा था | दोपहर में टांडा कोतवाली की पुलिस बसखारी रोड पर वाहन चेकिंग लगाए हुए थी| इस युवक को भी पुलिस ने रुकने का इशारा किया, जिस पर यह गाडी किनारे लगा ही रहा था कि अचानक दूसरा मोटरसाइकिल वाला व्यक्ति पुलिस की पकड़ से भाग लिया और इसी बात से खीझा पुलिस का एक जवान बिना किसी वजह के इस गरीब बुनकर गौसुल वरा के ऊपर बिना सोंचे समझे लाठी चला दी और यह भी नहीं समझा कि उसे चोट कहाँ लगेगी हुआ भी वही |पुलिस की लाठी सीधा युवक की दाहिनी आँख पर लगी और फिर आँख से खून निकलने लगा , खून निकलता देख पुलिस वाले उसे सडक पर ही छोड़कर मौके से भाग निकले |काफी देर तक यह युवक सडक पर तडपता रहा |जब इसकी जानकारी कोतवाल वकील सिंह यादव को हुई तो वे मौके पर पहुँच कर युवक को अपने साथ ले तो आये, लेकिन उसे किसी सरकारी अस्पताल या मेडिकल कालेज में भर्ती कराकर इलाज कराने के बजाय बिना किसी लिखा पढ़ी के ही एक प्राइवेट डाक्टर की क्लिनिक पर मरहम पट्टी कराकर चलते बने।
जिस डाक्टर के यहाँ इस युवक का इलाज चल रहा था वहां जब युवक की आँख से पट्टी खोली गई तो चोट लगी आँख से युवक को कुछ भी दिखाई नहीं पड़ रहा है| यह देखकर युवक के घर में कोहराम मच गया और युवक के बूढ़े माँ बाप के अलावा घर के अन्य सदस्यों के सामने आफत आ गई, क्योंकि यही युवक अपने परिवार के लिए अकेला कमाऊ सदस्य है | डाक्टर आँख की पट्टी हटने के बाद रोशनी न होने पर उसे कही बाहर दिखने की सलाह दी है | युवक के पिता इक़बाल अहमद अब अपने लड़के की आँख को लेकर इस बात से परेशान हैं कि उनके परिवार की रोजी मौके पर कैसे चलेगी और जो सबसे ज्यादा परेशानी है वह यह कि आँख का इलाज कराने के लिए उनके पास पैसा भी नहीं है। वहीँ पुलिस इस पूरे मामले से अपना पीछा छुड़ाती हुई दिखाई पड़ रही है| पुलिस अधीक्षक इस घटना को दुर्घटना बताते हुए कहा कि सीओ से जांच कराई गई है जिसमे पता चला है कि युवक चेकिंग देखकर तेज रफ्तार में गाड़ी मोड़ रहा था और गिरकर चोटिल हो गया।
Report- Syed shabi abbas
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