एक ऐसी विधानसभा जहाँ है बाहुबलियों में जंग
सोमवार को उत्तरप्रदेश की जिन 52 विधानसभा सीटो पर चुनाव होने जा रहे है उसमे फैज़ाबाद जनपद की गोसाईगंज विधानसभा सीट भी शामिल है . जंहा से दो बाहुबली आमने सामने है| जिनमे से एक समाजवादी पार्टी के बाहुबली नेता अभय सिंह हैं तो दूसरे हैं लगातार दल बदलने वाले प्रत्याशी है बाहुबली इंद्र प्रताप तिवारी उर्फ़ खब्बू| जिन्होंने इस विधानसभा चुनाव में अपना दल और भारतीय जनता पार्टी के गठबंधन से अपनी ताल ठोकी है | अब दोनों चुनाव के मैदान में आमने सामने है और दोनों ही खुद को पाक साफ़ और दूसरे को बाहुबली बताने में जुटे है लेकिन हकीकत में दोनों ही बाहुबलियों पर एक नहीं कई संगीन आपराधिक मुकदमें दर्ज है|
फैज़ाबाद की गोसाईगंज विधान सभा से अपना दल और बीजेपी गठबंधन ने बाहुबली इंद्र प्रताप तिवारी उर्फ़ खब्बू को अपना प्रत्याशी बनाया गया है। 1994 – 95 में फैजाबाद के साकेत कॉलेज चुनाव में महामंत्री के रूप में राजनीतिक सफ़र शुरू करने वाले इन्द्रप्रताप तिवारी 2007 में वह समाजवादी के टिकट पर अयोध्या विधानसभा से चुनावी मैदान में उतरे लेकिन चुनाव हार गए । इसके बाद उन्होंने समाजवादी पार्टी का दामन छोड़ दिया और बहुजन समाज पार्टी में शामिल हो गए । 2012 में उन्होंने फैजाबाद जिले की गोसाईगंज विधानसभा से चुनाव लड़ा । लेकिन यहां भी वह चुनाव हार गए | इसबार विधानसभा चुनाव से पहले भारतीय जनता पार्टी में शामिल हुए लेकिन गोसाईगंज विधानसभा सीट गठबंधन में जाने के बाद अपना दल का दामन थाम लिया और अनुप्रिया पटेल से टिकट ले ही आये और अब कमल निशान पर गोशाईगंज से भाजपा प्रत्याशी है | अब ये मौजूदा विधायक और सपा प्रत्याशी को बाहुबली और खुद को जनता का सेवक साबित करने में कोई कोई कोर कसर नहीं छोड़ रहे है|
वंही लखनऊ विश्व विधालय से राजनीतिक कैरियर की शुरुआत करने वाले मौजूदा सपा विधायक अभय सिंह की छवि प्रदेश के बाहुबली के रूप में शुमार होती है| इन्होने पिछला चुनाव जेल में रहते हुए लड़ा और मोर्चा संभाला इनकी पत्नी सरिता सिंह ने | जिसका इन्हें फायदा भी मिला और अभय सिंह साईकिल की सवारी कर विधानसभा पहुचे | खुद को बाहुबली नहीं मानने वाले अभय सिंह का कहना है कि मुकदमे दर्ज होने से कोई बाहुबली नहीं हो जाता और इनका खुद ही कहना है उनके सामने कोई टिक नहीं सकता है।